पटना : बिहार पुलिस ने राज्य में कानून-व्यवस्था को सुधारने और नागरिकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। डायल 112 सेवा, ‘सुरक्षित सफर सुविधा’ और सोशल मीडिया पर 24X7 ऑनलाइन पेट्रोलिंग जैसी पहलें आम जनता के लिए अत्यंत प्रभावी साबित हो रही हैं।
डायल 112: मिनटों में मददगार
बिहार पुलिस की डायल 112 सेवा ने कम समय में ही अपनी अलग पहचान बना ली है। पुलिस की यह टीम औसतन 5 से 10 मिनट के अंदर घटनास्थल पर पहुंचकर लोगों को सहायता प्रदान कर रही है। चाहे सड़क दुर्घटना हो, गुमशुदगी का मामला हो, या घरेलू हिंसा, डायल 112 की त्वरित प्रतिक्रिया से लोगों में सुरक्षा की भावना बढ़ी है।
हाल ही में बगहा जिले के रामनगर थाना क्षेत्र में एक सड़क दुर्घटना की सूचना मिलते ही पुलिस की टीम 5 मिनट के भीतर पहुंचकर घायलों को अस्पताल पहुंचाने में सफल रही। इसी तरह गया जिले में गुमशुदा बच्ची को 11 मिनट के अंदर सकुशल बरामद कर परिजनों को सौंपा गया। ऐसे ही कई उदाहरणों ने बिहार पुलिस को जनता का भरोसा जीतने में मदद की है।
‘सुरक्षित सफर सुविधा’ का लाभ
महिलाओं की सुरक्षा के लिए बिहार पुलिस ने 24X7 निःशुल्क ‘सुरक्षित सफर सुविधा’ शुरू की है। इस सेवा के तहत महिलाएं अपने यात्रा के दौरान डायल 112 पर कॉल कर मदद ले सकती हैं। सितंबर 2024 से यह सेवा पूरे राज्य में लागू की गई है और महिलाओं ने इसका भरपूर लाभ उठाया है। अब महिलाएं निर्भीक होकर यात्रा कर रही हैं और कहीं भी, कभी भी पुलिस की सहायता प्राप्त कर रही हैं।
त्वरित कार्रवाई से लौटी मुस्कान
घायल लोगों को अस्पताल पहुंचाने और गुमशुदा बच्चों को बरामद करने जैसे मामलों में बिहार पुलिस की त्वरित कार्रवाई सराहनीय रही है। भोजपुर जिले के कृष्णागढ़ थाना क्षेत्र में सड़क दुर्घटना की सूचना पर डायल 112 की टीम 10 मिनट के भीतर घटनास्थल पर पहुंची और घायलों को अस्पताल पहुंचाया। इसी प्रकार जहानाबाद के शाहबाजपुर गांव से गुम हुए बच्चे को खोजने के लिए पुलिस ने सीसीटीवी फुटेज खंगाल कर बच्चे को सकुशल बरामद किया।
सोशल मीडिया पर ऑनलाइन पेट्रोलिंग
बिहार पुलिस का सोशल मीडिया सेंटर राज्यभर की घटनाओं पर चौबीसों घंटे नजर रखता है। सोशल मीडिया के माध्यम से पुलिस ने कई बड़ी घटनाओं पर त्वरित प्रतिक्रिया दी है। सितंबर में एसएसबी भर्ती परीक्षा देने गए बिहार के छात्रों को धमकी का मामला हो या भ्रामक पोस्ट फैलाने वाले संदिग्ध अकाउंट्स को बंद करना, बिहार पुलिस की सोशल मीडिया टीम ने तत्परता से कार्रवाई की है।
डायल 112 की उपलब्धियां
पुलिस मुख्यालय से जारी आंकड़ों के अनुसार, पिछले दो वर्षों में डायल 112 ने 20 लाख से अधिक लोगों को सहायता प्रदान की है। 2024 का लक्ष्य 18-20 लाख जरूरतमंद नागरिकों तक पहुंचने का है। औसतन 20 मिनट का रिस्पॉन्स टाइम, जो अब और भी बेहतर हो रहा है, ने बिहार पुलिस को राष्ट्रीय स्तर पर भी पहचान दिलाई है।
महिला सुरक्षा में महत्वपूर्ण योगदान
राज्य में घरेलू हिंसा और महिला उत्पीड़न के मामलों में भी बिहार पुलिस ने तत्परता दिखाई है। हाल ही में मोतिहारी जिले के पहाड़पुर थाना क्षेत्र में घरेलू हिंसा की सूचना पर पुलिस ने 10 मिनट के अंदर पहुंचकर स्थिति को संभाला।
सोशल मीडिया पर बढ़ता विश्वास
बिहार पुलिस की लोकप्रियता सोशल मीडिया पर भी तेजी से बढ़ रही है। फेसबुक, इंस्टाग्राम, और एक्स जैसे प्लेटफॉर्म्स पर बिहार पुलिस के 14 लाख से अधिक फॉलोअर्स हैं। सोशल मीडिया पर त्वरित प्रतिक्रिया और जनहित की जानकारी साझा करने के कारण बिहार पुलिस आम जनता के बीच विश्वास कायम करने में सफल रही है।
बिहार पुलिस की त्वरित सेवाओं ने न केवल राज्य में कानून-व्यवस्था को बेहतर किया है, बल्कि आम जनता में सुरक्षा की भावना को भी मजबूत किया है। डायल 112 सेवा, ‘सुरक्षित सफर सुविधा’, और सोशल मीडिया पर सक्रियता जैसे कदम बिहार पुलिस को और अधिक प्रभावी और जनता का विश्वास अर्जित करने में मदद कर रहे हैं।
बिहार पुलिस की इन पहलों ने यह साबित किया है कि मुसीबत की घड़ी में बिहार पुलिस आम लोगों के साथ खड़ी है, और उनकी त्वरित कार्रवाई से लोगों के चेहरे पर मुस्कान लौट रही है।
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