पटना/माड़ीपुर: माड़ीपुर निवासी अनुभव राज को बिहार हिंदी साहित्य सम्मेलन, पटना के 43वें महाधिवेशन एवं 106वें स्थापना दिवस पर ‘विशेष प्रतिभाशाली किशोर हिंदी सेवी सम्मान’ से सम्मानित किया गया। यह सम्मान उन्हें पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं पद्मश्री डॉ. सी. पी. ठाकुर, सुप्रसिद्ध गीतकार बुद्धिनाथ मिश्र और साहित्य सम्मेलन के अध्यक्ष डॉ. अनिल सुलभ द्वारा प्रदान किया गया। इस अवसर पर अनुभव को शॉल और सम्मान पत्र देकर सम्मानित किया गया।
अनुभव राज की माता डॉ. आरती कुमारी साहित्यकार और सहायक प्राध्यापक हैं, जबकि उनके पिता माधवेंद्र प्रसाद हैं। अनुभव दिव्यांग हैं और वर्तमान में लंगट सिंह महाविद्यालय में हिंदी स्नातक के प्रथम वर्ष के छात्र हैं। बाल साहित्य में उनकी रचनात्मकता को देखते हुए, उनकी पुस्तक *चिड़ियों का स्कूल* वर्ष 2022 में प्रकाशित हुई थी। इसके अलावा, उनकी कविता *मां* को एनसीईआरटी की कक्षा 2 की हिंदी पाठ्यपुस्तक *सारंगी* में शामिल किया गया है।
यहां क्लिक कर हमारे Youtube चैनेल से जुड़े
अनुभव का साहित्यिक सफर पहले भी उल्लेखनीय रहा है। वे एक दिन के राज्य निशक्तता आयुक्त रह चुके हैं और उन्हें कई प्रमुख सम्मानों से नवाजा जा चुका है, जिनमें श्री ग्यासिराम गोयल हिंदी बाल साहित्य सम्मान 2021, स्पार्क ऑफ किलकारी 2022, विद्यादेवी खन्ना बाल साहित्य सम्मान 2023, और अदबी उड़ान विशिष्ट साहित्यकार सम्मान 2023 शामिल हैं।
अनुभव की इस उपलब्धि पर शहरवासियों ने खुशी जताई है और उन्हें बधाई दी है। उनके सम्मानित होने से माड़ीपुर और समस्तीपुर क्षेत्र के लोगों में गर्व की भावना है। उनके साहित्यिक योगदान और सामाजिक कार्यों ने उन्हें एक प्रेरणा स्रोत बना दिया है।