पटनाबिहारराष्ट्रीय समाचारसमाचार

केंद्रीय एकीकृत नाशीजीव प्रबंधन केंद्र, 5 दिवसीय आई.पी.एम. प्रशिक्षण समापन

भारत सरकार के अधीन केंद्रीय एकीकृत नाशीजीव प्रबंधन केंद्र, पटना द्वारा 5 दिवसीय आई.पी.एम. प्रशिक्षण कार्यक्रम का समापन.

पटना : भारत सरकार के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के केंद्रीय एकीकृत नाशीजीव प्रबंधन केंद्र, पटना द्वारा आयोजित पाँच दिवसीय आई.पी.एम. (इंटीग्रेटेड पेस्ट मैनेजमेंट) ओरिएंटेशन प्रशिक्षण कार्यक्रम का शुक्रवार, 15 नवंबर को समापन हुआ। इस समापन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में डॉ. अवनीश श्रीवास्तव, संयुक्त निदेशक, पौधा संरक्षण, बिहार सरकार, ने भाग लिया और प्रशिक्षुओं से उनके अनुभव और प्रशिक्षण के प्रभाव पर प्रतिक्रिया ली।

मुख्य अतिथि ने कहा कि आई.पी.एम. किसानों के लिए बेहद महत्वपूर्ण है क्योंकि यह न केवल फसल सुरक्षा को सुनिश्चित करता है, बल्कि पर्यावरण को भी नुकसान से बचाता है। उन्होंने प्रशिक्षुओं से यह आग्रह किया कि वे इस ज्ञान को किसानों तक पहुंचाने का प्रयास करें ताकि उनका जीवन स्तर बेहतर हो सके।

केंद्र के प्रभारी अधिकारी विवेक कांट गुप्ता, वनस्पति संरक्षण अधिकारी, ने प्रशिक्षण कार्यक्रम के महत्व को बताया और प्रशिक्षुओं से यह भी कहा कि वे इसे अपने कार्यक्षेत्र में लागू करें और आई.पी.एम. की तकनीकों को किसानों के बीच फैलाने का कार्य करें।

यह भी पढ़ें  भाकपा (माले) प्रखंड कमिटी की बैठक

इस पाँच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम में पौधा संरक्षण के विभिन्न पहलुओं पर चर्चाएं और व्याख्यान हुए। भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद के पूर्वी अनुसंधान परिसर, पटना, केंद्रीय आलू अनुसंधान संस्थान, पटना और राज्य सरकार के प्रमुख विशेषज्ञों ने इस दौरान अपने-अपने अनुभव साझा किए। कार्यक्रम में भाग लेने वाले विशेषज्ञों में डॉ. मो. मोनोब्रुल्लाह, प्रधान वैज्ञानिक, डॉ. अभिषेक दुबे, वैज्ञानिक, डॉ. एस.पी. सिंह, प्रधान वैज्ञानिक, और बिहार सरकार के विभिन्न वनस्पति संरक्षण अधिकारी शामिल थे।

यह भी पढ़ें  पटना में 2000 के नोटों को बदलने का खेल: 9.74 लाख जब्त; 12 हिरासत में

प्रशिक्षण कार्यक्रम में राज्य सरकार के कृषि विभाग के प्रसार अधिकारियों और कर्मचारियों को प्रशिक्षित किया गया। समापन समारोह के दौरान, सभी प्रशिक्षुओं को उनके योगदान और ज्ञान अर्जन के लिए प्रमाण पत्र प्रदान किए गए। मुख्य अतिथि डॉ. अवनीश श्रीवास्तव ने प्रशिक्षुओं को प्रमाण पत्र दिए और उनसे यह आश्वासन लिया कि वे प्रशिक्षण में सीखी गई तकनीकों का उपयोग करके किसानों में जागरूकता फैलाएंगे।

यह भी पढ़ें  कहरा ठाकुरबारी योग शिविर से हुआ अंतरराष्ट्रीय विश्व योग दिवस का शंखनाद

समारोह के समापन पर प्रशिक्षुओं ने यह संकल्प लिया कि वे अपने कार्यक्षेत्र में लौटकर आई.पी.एम. की तकनीक को किसानों तक पहुंचाएंगे, ताकि खेती में उर्वरक और कीटनाशकों का सही तरीके से उपयोग हो सके और उत्पादन में वृद्धि हो।

इस कार्यक्रम के आयोजन से यह साबित हुआ कि आई.पी.एम. तकनीक न केवल फसल सुरक्षा के लिए, बल्कि कृषि में उत्पादन क्षमता बढ़ाने के लिए भी एक महत्वपूर्ण कदम है।

Gaam Ghar Desk

गाम घर डेस्क के साथ भारत और दुनिया भर से नवीनतम ब्रेकिंग न्यूज़ और विकास पर नज़र रखें। राजनीति, एंटरटेनमेंट और नीतियों से लेकर अर्थव्यवस्था और पर्यावरण तक, स्थानीय मुद्दों से लेकर राष्ट्रीय घटनाओं और वैश्विक मामलों तक, हमने आपको कवर किया है। Follow the latest breaking news and developments from India and around the world with 'Gaam Ghar' news desk. From politics , entertainment and policies to the economy and the environment, from local issues to national events and global affairs, we've got you covered.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button