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बिहार में प्रॉपर्टी रजिस्ट्री के नए नियम: होल्डिंग टैक्स रसीद अनिवार्य होगा

बिहार में प्रॉपर्टी की खरीद-बिक्री के नियम सख्त: रजिस्ट्री से पहले दिखानी होगी होल्डिंग टैक्स की रसीद.

बिहार में संपत्ति की खरीद-बिक्री को लेकर बड़ा बदलाव किया गया है। अब संपत्ति बेचने वालों को रजिस्ट्री से पहले होल्डिंग टैक्स भुगतान की रसीद दिखाना अनिवार्य होगा। यह नियम फिलहाल पटना नगर निगम क्षेत्र में लागू किया गया है। पटना नगर निगम ने इस संबंध में निबंधक, नगर विकास विभाग और मद्य निषेध एवं निबंधन विभाग को पत्र भेजकर इसकी जानकारी दी है।

होल्डिंग टैक्स की रसीद अनिवार्य
निगम द्वारा जारी निर्देश के अनुसार, अब मकान, भवन, फ्लैट, या भूखंड की खरीद-बिक्री के लिए संपत्ति मालिकों को रजिस्ट्री कार्यालय में होल्डिंग टैक्स और ठोस कचरा प्रबंधन शुल्क (गार्बेज फीस) की भुगतान रसीद दिखानी होगी। रसीद के अभाव में प्रॉपर्टी की रजिस्ट्री नहीं हो सकेगी। निगम का यह कदम संपत्ति खरीदने वालों पर अतिरिक्त वित्तीय बोझ को कम करने और खरीद-बिक्री प्रक्रिया को पारदर्शी बनाने के उद्देश्य से उठाया गया है।

खरीदारों पर पड़ता था वित्तीय बोझ
अक्सर देखा गया है कि प्रॉपर्टी मालिक अपने हिस्से का होल्डिंग टैक्स या अन्य शुल्क नहीं भरते हैं। ऐसे में प्रॉपर्टी की खरीद के बाद इसका पूरा बोझ नए खरीदार पर आ जाता है। इस समस्या को दूर करने के लिए पटना नगर निगम ने यह नियम लागू किया है। अब रजिस्ट्री प्रक्रिया के दौरान प्रॉपर्टी मालिकों को अपने टैक्स और शुल्क के भुगतान की प्रमाणिकता दिखानी होगी।

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रजिस्ट्री से पहले पूरी करनी होंगी शर्तें
नए नियमों के तहत प्रॉपर्टी बेचने वाले व्यक्ति को रजिस्ट्री कार्यालय में होल्डिंग टैक्स और गार्बेज फीस की भुगतान रसीद दिखानी होगी। यदि यह रसीद नहीं होती है, तो संपत्ति की खरीद-बिक्री पर रोक लग जाएगी। इसके अलावा, निबंधन परिसर में ही संपत्ति टैक्स की बकाया राशि चुकाने और दाखिल खारिज के आवेदन दाखिल करने की भी सुविधा दी जाएगी।

संपत्ति की खरीद-बिक्री में पारदर्शिता
पटना नगर निगम का यह निर्णय संपत्ति की खरीद-बिक्री प्रक्रिया को अधिक पारदर्शी और व्यवस्थित बनाने की दिशा में एक बड़ा कदम है। यह नियम न केवल क्रेताओं को वित्तीय समस्याओं से बचाएगा, बल्कि यह सुनिश्चित करेगा कि संपत्ति मालिकों द्वारा सभी राजस्व शुल्क का भुगतान समय पर हो।

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सरकार की मंशा
इस फैसले का उद्देश्य संपत्ति खरीदने वालों को वित्तीय बोझ से राहत देना और संपत्ति कर संग्रह में बढ़ोतरी करना है। नगर निगम का मानना है कि इससे करदाताओं में अनुशासन आएगा और संपत्ति लेन-देन की प्रक्रिया को सुगम बनाया जा सकेगा।

शुरुआती समस्याएं संभव
हालांकि इस नए नियम के लागू होने से कुछ शुरुआती समस्याएं सामने आ सकती हैं, विशेष रूप से उन संपत्ति मालिकों के लिए, जिन्होंने अभी तक होल्डिंग टैक्स का भुगतान नहीं किया है। लेकिन निगम ने निबंधन परिसर में टैक्स और शुल्क भुगतान की सुविधा देकर इसे सरल बनाने की कोशिश की है।

अगले चरण में पूरे राज्य में लागू होगा नियम
फिलहाल यह नियम पटना नगर निगम क्षेत्र में लागू किया गया है। यदि यह नियम सफल होता है, तो इसे पूरे बिहार में लागू करने पर विचार किया जा सकता है। नगर निगम ने संपत्ति मालिकों से अपील की है कि वे रजिस्ट्री से पहले अपने सभी बकाया टैक्स का भुगतान सुनिश्चित करें।

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नए नियम से जनता को राहत
नए नियमों से संपत्ति खरीदने वालों को राहत मिलने की उम्मीद है। अब उन्हें प्रॉपर्टी खरीदने के बाद अनावश्यक करों के भुगतान का सामना नहीं करना पड़ेगा। पटना नगर निगम के इस कदम को संपत्ति लेन-देन में पारदर्शिता और वित्तीय अनुशासन की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।

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Abhishek Anand

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